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(सांकेतिक तस्वीर)
– फोटो : सोशल मीडिया

विस्तार

बरेली के जिला न्यायालय परिसर में रविवार को राष्ट्रीय लोक अदालत लगी। लंबे समय से चल रहे पारिवारिक विवाद के 113 मामले यहां सुलह समझौते से निपटे। इसमें कुछ मामले पति-पत्नी के बीच विवाद के थे। जज ने इन जोड़ों का विवाद दूर कराया। इस दौरान एक महिला ने तो यहां तक कहा कि न मैं हारी, न तुम जीते। मैंने गलती मानी, तुम भी मानो अपनी…। 

इसके बाद अलग होने के लिए अदालत के चक्कर काट रहे जोड़े और एक दूसरे की आंखों की किरकिरी बने लोग हंसी खुशी साथ जाने के लिए राजी हुए। पति ने पत्नी को गले लगा लिया। इस तरह दोनों के बीच शिकव गिले दूर गए। हालांकि कुछ जोड़ों के बीच तलाक और भरण पोषण का फैसला भी आपसी सहमति से तय हुआ। इस वजह से लगे अन्य आरोपों से मुक्ति मिली।

40,259 वादों का निस्तारण

लोक अदालत के नोडल अधिकारी अपर जिला जज अरविंद कुमार यादव ने बताया कि जनपद न्यायालय के 6642 मुकदमों के अलावा कुल 40,259 वादों का निस्तारण किया। इसमें परिवहन विभाग के 17,743, अपर सत्र न्यायालय के 463, सिविल के 455, मोटर एक्सीडेंट प्रतिकर के 269, फौजदारी के 5342 मामलों को भी सुलह समझौते के आधार पर तय किया गया। 12,521 ई चालानों व ई डिस्ट्रिक्ट पोर्टल के जरिये 3807 मामलों का निपटारा किया गया।

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